सेहत के साथ खिलवाड़ कर रहे खाद्य व्यापारी, कार्रवाई का डर ही नही

रोज हो रही कार्रवाई

Mar 1, 2024 - 11:31
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मछली की पेटियों में भरकर लाई गई थी डेढ़ क्विंटल संदिग्ध पनीर, खाद्य विभाग के अधिकारियों ने पकड़ा, कराई नष्ट

रीवा। खाद्य विभाग द्वारा निरंतर छापा मार कार्रवाई की जा रही है। उसके बावजूद दूषित खाद्य सामग्री की बिक्री करने से व्यापारी बाज नहीं आ रहे हैं। व्यापारी कम समय में ज्यादा पैसे कमाने की लालच में पड़कर लोगो की सेहत के साथ खतरनाक खेल कर रहे है। खामियाजा लोगो को भुगतना पड़ रहा है। दूषित खाद्य सामग्री के व्यापारियों में विभागीय कार्रवाई  का भी कोई डर नही दिख रहा। वजह स्पष्ट है लचीला कानून। इसके चलते ही व्यापारियों में कानून का डर नही रह गया। जबकि खाद्य विभाग द्वारा रोज छापामार कार्रवाई की जा रही है। गुरुवार को ही  खाद्य विभाग के अधिकारी संदिग्ध पनीर की खेप पकड़ने बस स्टैंड सुबह छह बजे पहुंच गए। करीब डेढ़ क्विंटल पनीर लाई गई थी। जांच के दौरान किसी प्रकार के दस्तावेज भी नही पाए गए। ऐसे में खाद्य विभाग के अधिकारियों ने नगर निगम अमले को बुलाया और डेढ़ क्विंटल पनीर को नष्ट कराया गया। उल्लेखनीय है कि मिलावट से मुक्ति अभियान के अंतर्गत कलेक्टर 54द्वारा गठित संयुक्त जांच दल द्वारा मुखबिर से प्राप्त सूचना के आधार पर बस स्टैंड से आने वाले संदेहास्पद पनीर की खेप पकड़ने के लिए गुरुवार की सुबह 6:00 बजे बस स्टैंड पर छापा मार कार्रवाई की बस स्टैंड परिसर में मछली की पेटियों में पनीर लाया गया था जो प्रारंभिक जांच में संदिग्ध प्रतीत हो रहा था ।पनीर में से मछली की बदबू आ रही थी। कुछ देर में जो व्यक्ति पनीर की पेटियों को उठाने के लिए आया उससे पूछताछ करने पर उसने अपना नाम उमेश सोंधिया बताया एवं पनीर को प्रधान बस जबलपुर से मंगाया था। उन्होंने बताया कि यह पनीर उनके द्वारा कमल खरे से मंगवाया गया है परंतु इस संबंध में उनके पास किसी प्रकार का दस्तावेज नहीं पाया गया। पनीर की गुणवत्ता संदिग्ध होने से समस्त पनीर को जप्त कर बिछिया स्थित कार्यालय लाया गया जहां पर नमूना कार्रवाई की गई इसके पश्चात नगर निगम के अमले को बुलाकर समस्त डेढ़ कुंटल पनीर जिसकी कीमत लगभग ₹50000 के आसपास थी विनष्ट कराया गया। इन दिनो शादियों का बड़ा मुहूर्त होने से पनीर की मार्केट में बहुत ज्यादा डिमांड है। पनीर सप्लायर द्वारा रीवा के बाहर से पनीर मंगवाकर कैटर्स को सप्लाई किया जा रहा है उसमें गुणवत्ता का कोई ध्यान नहीं रखा जा रहा है। जांच के दौरान टीम में खाद्य सुरक्षा अधिकारी अमरीश दुबे एवं साबिर अली सम्मिलित रहे।

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